Azoospermia and Less Sperm Count (वीर्य में शुक्राणुओं का ना होना और शुक्राणु कम होना)

Azoospermia and Less Sperm Count
(वीर्य में शुक्राणुओं का ना होना और शुक्राणु कम होना)
 
गर्भधारण कि प्रक्रिया मे पुरुष और स्त्री के सम्भोग के उपरान्त पुरुष द्वारा स्त्री कि योनि के माध्यम से गर्भाशय मे शुक्राणुओ को डालना है। शुक्राणु और अंडे के मिलन से गर्व की स्थापना होती है
शुक्राणुओं की कमी होने से संभोग समर्था में कोई कमी नहीं आती समस्या संतान प्राप्ति में होती है
शुक्राणु कम होने के कारण :-
1. छोटी उम्र में वीर्य का दुरुप्रयोग करना
2. पाचन किरिया ठीक ना होना
3. किसी भी प्रकार के नशे का लगातार सेवन करना
4. जरुरत से ज्यादा कसरत करना
5. लंबे समय तक स्टीरॉयड और प्रोटीन पाउडर इत्यादि का सेवन करना
6. तेज मिर्च मसाले का सेवन करते रहना

शुक्राणुओं की समस्या में बहुत बार ऐसा भी देखा जाता है कि वीर्य में शुक्राणु बिल्कुल भी नहीं होते है जिससे azoospermia कहते हैं
अक्सर लोगों के मन में धारणाएं हैं कि azoospermia   की कोई चिकित्सा नहीं है ।

azoospermia और शुक्राणुओं की कमी हो ना कोई छोटी समस्या नहीं है इसलिए इसकी चिकित्सा किसी अच्छे आयुर्वेदिक डॉक्टर से ही करवानी चाहिए।
 हमारे सेंटर पर जो योग इस्तेमाल किए जाते हैं उनमें से एक आपको बता रहा हूं

1.अश्वगंधा चूर्ण                   100gm
2. शतावर्यादि चूर्ण               100gm
3. स्वर्ण भसम                         2gm
4. चांदी भसम                         8gm
5. मोती पिष्टी                        16gm
6 अभ्रक भसम 1000 पुटी     16gm
7. वंग भसम                         16gm

ऊपर लिखी सभी दवाइयों किसी अच्छी कंपनी की ले कर अच्छे से मिक्स कर लें
 8. काम चूड़ामणि रस 1-1 tab
9. स्वर्ण मालिनी वसंत 1-1 tab

मात्रा :- सुबह शाम 3 - 3 gm और एक एक गोली काम चूड़ामणि रस और स्वर्ण मालिनी वसंत गर्म दूध के साथ सेवन करें

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